शीर्षक पंक्ति:आदरणीया दीदी विभा रानी श्रीवास्तव जी की रचना से।
सादर अभिवादन।
रविवारीय अंक के साथ पाँच पसंदीदा रचनाएँ लेकर हाज़िर हूँ-
आज शहीद दिवस है।
बापू की पुण्य तिथि को ही भारत में शहीद दिवस के रूप में याद किया जाता है।
30 जनवरी 1948 को बापू की हत्या उनको तीन गोलियाँ दाग कर की गई थी। भारत में बापू को अगाध श्रद्धा के साथ याद किया जाता है और इस अवसर पर आयोजित होनेवाले सरकारी एवं ग़ैर-सरकारी कार्यक्रमों में उन्हें श्रद्धांजलि देकर देश के प्रति उनके समर्पण और योगदान पर चर्चाएँ होती है जिनसे देश प्रेरणा लेता है।
गाँधी-दर्शन व्यक्ति में मूल्य रोपता है और जीवन को सामाजिक मूल्यों के साथ जीने का अर्थ देता है। गाँधी-दर्शन का भारत में विरोध मात्र एक कुंठित मानसिकता है जो अहिंसा और सद्भाव से परे सतत अशांति और हिंसा के विचार को प्रश्रय देने में यक़ीन रखती है बशर्ते उन्हें कभी खरोंच तक न आए जो इस विचार को आगे बढ़ाते हैं। गाँधी-दर्शन सरल है किंतु उस सरलता को अपनाना अत्यंत सरल नहीं है वजह है व्यक्ति के अपने अंतरविरोध और जीवन की कठिन चुनौतियाँ।
बापू को सादर श्रद्धांजलि एवं कोटि-कोटि नमन।
-रवीन्द्र सिंह यादव
आइए पढ़ते हैं आज की पसंदीदा रचनाएँ-
पर जब हुआ जर जर पिंजरा
याद आई फिर से स्वतंत्र विचरण की
उस द्वार की जिससे
पिंजरे में प्रवेश किया था |
एक उम्र तक आते-आते
समझौता भी खत्म हो जाता है
खुद की आदत
खुद को ही कमजोर
दिखलाने में अव्वल हो जाती है।
कोष श्वासों का भी, यूँ ही लुटता रहा
कुछ मिला ही नहीं, जब तलाशी हुई ।।
शब्द परदेस में जाके सब बस गए
भावनाएँ मेरी अब प्रवासी हुईं ।।
शोलों को देखा है बुझते हुए,
थोड़ा शरबती मिज़ाज रखिये।
कोई तूफ़ान ना-ख़ुदा नहीं होता,
हौसले अपने फ़राज रखिये।
चूळू भर-भर सौरभ छिड़कूँ
लय मतवाळी थिरक रही।
सूर तार बाँधू ताळा रा
अभी व्यंजना मिथक रही।
फूल रोहिड़ा रा है बिखरा
खुड़के झँझरी नोखो से।।
*****
आज बस यहीं तक
फिर मिलेंगे आगामी गुरुवार।
रवीन्द्र सिंह यादव
बहुत दिन बाद उड़ती चिड़िया दिखी..
जवाब देंहटाएंकोष श्वासों का भी, यूँ ही लुटता रह
कुछ मिला ही नहीं, जब तलाशी हुई ।।
शब्द परदेस में जाके सब बस गए
भावनाएँ मेरी अब प्रवासी हुईं ।।
शानदार अंक..
सादर..
आदरणीया यशोदा दी, लेखन क्षेत्र में जो भी थोड़ी बहुत पहचान मिली, इसी ब्लॉग जगत से मिली। इस ब्लॉग जगत से कुछ अनमोल साथी भी मिले। आप सब का स्नेह लौटा लाता है। बहुत सारा प्यार आपके लिए !!!
हटाएंअसीम शुभकामनाओं के संग हार्दिक आभार आपका
जवाब देंहटाएंश्रमसाध्य प्रस्तुति हेतु साधुवाद
शहीद दिवस पर गांधी जी और देश पर शहीद होने वाले वीरों को नमन ।
जवाब देंहटाएंबेहतरीन लिंक्स से सुसज्जित प्रस्तुति ।
नमन देश के वीर सपूतो को जिनका कर्ज आने वाली प्रत्येक पीढ़ी पर रहेगा।
जवाब देंहटाएंसराहनीय संकलन में मेरे को स्थान दिया हृदय से आभारी हूँ सर।
सादर
वैविध्यपूर्ण रचनाओं का सराहनीय अंक ।सभी रचनाकारों को मेरी हार्दिक शुभकामनाएं । शहीद दिवस पर सभी शहीदों को मेरा शत शत नमन 💐💐
जवाब देंहटाएंएक उम्र तक आते आते समझौता भी खत्म हो जाता है.... पता नहीं वह उम्र कौन सी होती है...
जवाब देंहटाएंबेहतरीन रचनाओं के इस संकलन में अपनी रचना को देखकर बहुत प्रसन्नता हुई। सादर आभार आदरणीय रवींद्रजी।
शानदार संकलन
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