पहले एक सही
और सटीक
समाचार है कि
अच्छा संकेत है देश अच्छी दिशा में जा रहा है
सत्ता ईशों का कथन ऐसा ही है....
सादर अभिवादन...
चलिए चलें..... आगे बढ़ें..
छोटे छोटे टांको से
दर्द की तुरपाई की
खिलखिलाहट पैच
दरके की भरपाई की
बादल...
धूप...
पवन...
बारिश...
छाँव...
सिहरन..
अच्छा संकेत है
देश अच्छी दिशा
में जा रहा है
‘उलूक’ की आदत है
लिखे जा रहा है
क्या फर्क पड़ता है
कौन पढ़ने आ रहा है ।
सोच बात नई उड़ान की,
नए ख्बाव बुन
मेरे अल्फ़ाज़ों पर न जा,
तू मुझको सुन ।
नही सुलझा पायी,
उन उलझनों को जिसमे..
तुम उलझा कर गये थे...
बंध सी गयी उन उलझनों में,
आज्ञा दीजिए....
देवी जी अपने
स्वास्थ्य फॉलो-अप के लिए
चेन्नई गई हुई है
संभवतः सोमवार को फिर मिलेंगे
स्वतंत्रता दिवस की अग्रिम शुभकामनाएँ..
-दिग्विजय
शुभ प्रभात आदरणीय
जवाब देंहटाएंछोटी बहना का ख्याल रखने का सादर अनुरोध
एक से बढ़ कर एक लेखन के बीच खुद के लिखे को पाकर हर्षित हूँ
बहुत बहुत धन्यवाद आपका
सुंदर लिंकों का चयन....
जवाब देंहटाएंआभार।
सुंदर प्रस्तुति । आभार दिग्विजय जी ‘उलूक’ की आदत है लिखे जा रहा है क्या फर्क पड़ता है कौन पढ़ने आ रहा है को जगह देने के लिये ।
जवाब देंहटाएंआभार
जवाब देंहटाएंआभार
जवाब देंहटाएंस्वतंत्रता दिवस की अग्रिम शुभकामनाएँ...!!
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