निवेदन।


फ़ॉलोअर

गुरुवार, 19 नवंबर 2020

1950...इसी आपाधापी में तो हमने सारी उमरिया गँवाई...

शीर्षक पंक्ति: आदरणीया अमृता तन्मय जी की रचना से।

सादर अभिवादन।

दुनिया से मिलकर चलना 

सिखा देता है व्यापार,

मुनाफ़ा प्रलोभन वक़्त 

बनते कारोबार का सार। 

-रवीन्द्र 

आइए अब आपको आज की पसंदीदा रचनाओं की ओर ले चलें-

स्मृतियाँ.... आशालता सक्सेना

दो संस्करण

बीती बातों को बारम्बार याद करना

उन्हें विस्मृत होने देना  स्मृतिपटल से

दिमाग को व्यस्त रखने के लिए

यह तरीका भी काफी है

कवि के स्वर पन्नों पर.... कुसुम कोठारी


कविता जो रुक जाये तो फिर

कल्पक कब जीवित रहता

रुकी लेखनी द्वंद हृदय में

फिर कल्पना कौन कहता

मौन गूँजते मन आँगन में

कंपित से भयभीत हुये।।

रात बीत गई तब पिया जी घर आए.... अमृता तन्मय

Amrita Tanmay

उधर पिया जी बैठे मुँह लटकाए , गाल फुलाये

रह- रह कर बस हमें ही जलाये , और अपनी चलाये

संझावती की इस बेला में थकान ले रही कमरतोड़ अँगराई

इसी आपाधापी में तो हमने सारी उमरिया गँवाई

विचारों का क्रम.... अरुण चंद्र रॉय

 प्रेम, घृणा

अन्धकार, प्रकाश

स्वतंत्रता परतंत्रता

भी कुछ और नहीं बल्कि है

विचारों की अभिव्यक्ति।

वीर जवान....विभा ठाकुर

 मेरी आन बान शान है तू 
मेरे तिरंगे की पहचान है तू

दुनिया सैनिक कहती है तुझे

पर मेरे दिल में तो तू

मेरे हर धरकन का एहसास है तू।

कौन हूँ मैं ?.... अनीता सैनी 

ख़ूब मेहनत करती हूँ 

कि पिता-पति के लिए ख़रीद सकूँ 

मान-सम्मान और स्वाभिमान।

परंतु फिर अगले ही पल 

स्वयं से यही पूछती हूँ 

कौन हूँ मैं ?

 

 

                                                             आज बस यहीं तक।

कल अपनी प्रस्तुति के साथ होंगीं आदरणीया श्वेता सिन्हा जी।

 

रवीन्द्र सिंह यादव 


8 टिप्‍पणियां:

  1. दुनिया से मिलकर चलना
    सिखा देता है व्यापार,
    मुनाफ़ा प्रलोभन वक़्त
    बनते कारोबार का सार
    –वाहः सच्चाई
    सराहनीय प्रस्तुतीकरण

    जवाब देंहटाएं
  2. सुंदर प्रवाहमय लोकप्रिय हलचल के लिए मधुर भावपूर्ण आभार ।

    जवाब देंहटाएं
  3. बहुत ही सुंदर संकलन।मेरे सृजन को स्थान देने हेतु सादर आभार आदरणीय सर।

    जवाब देंहटाएं
  4. सुंदर प्रस्तुति सुंदर लिंक ,सभी रचनाकारों को हार्दिक बधाई।
    मेरी रचना को शामिल करने के लिए हृदय तल से आभार।

    जवाब देंहटाएं
  5. इस टिप्पणी को लेखक द्वारा हटा दिया गया है.

    जवाब देंहटाएं
  6. सुंदर रचनाओं का लिंक। बहुत सुंदर ।

    जवाब देंहटाएं
  7. इस टिप्पणी को लेखक द्वारा हटा दिया गया है.

    जवाब देंहटाएं

आभार। कृपया ब्लाग को फॉलो भी करें

आपकी टिप्पणियाँ एवं प्रतिक्रियाएँ हमारा उत्साह बढाती हैं और हमें बेहतर होने में मदद करती हैं !! आप से निवेदन है आप टिप्पणियों द्वारा दैनिक प्रस्तुति पर अपने विचार अवश्य व्यक्त करें।

टिप्पणीकारों से निवेदन

1. आज के प्रस्तुत अंक में पांचों रचनाएं आप को कैसी लगी? संबंधित ब्लॉगों पर टिप्पणी देकर भी रचनाकारों का मनोबल बढ़ाएं।
2. टिप्पणियां केवल प्रस्तुति पर या लिंक की गयी रचनाओं पर ही दें। सभ्य भाषा का प्रयोग करें . किसी की भावनाओं को आहत करने वाली भाषा का प्रयोग न करें।
३. प्रस्तुति पर अपनी वास्तविक राय प्रकट करें .
4. लिंक की गयी रचनाओं के विचार, रचनाकार के व्यक्तिगत विचार है, ये आवश्यक नहीं कि चर्चाकार, प्रबंधक या संचालक भी इस से सहमत हो।
प्रस्तुति पर आपकी अनुमोल समीक्षा व अमूल्य टिप्पणियों के लिए आपका हार्दिक आभार।




Related Posts Plugin for WordPress, Blogger...