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बुधवार, 26 नवंबर 2025

4583..कौन हो तुम

 ।।प्रातःवंदन।।

आधार जग का उदित रवि, अति आदि स्रोत है प्राण का,

अति तप्त ज्योति के रश्मि पुंज हे! विश्व रूप महान का।

रवि मूल जीवन स्रोत्र इसकी, रश्मियों में प्राण हैं,

जग के सभी व्यवहार, प्राणी, सूर्य बिन निष्प्राण हैं !

~डा. मृदुल कीर्ति 

लिजिए बुधवारिय प्रस्तुतिकरण....


आज सदियों के घाव भर रहे हैं, सदियों की वेदना विराम पा रही है, सदियों का संकल्प सिद्ध हो रहा है

ध्वज पताक तोरन पुर छावा। कहि न जाइ जेहि भाँति बनावा॥

सुमनबृष्टि अकास तें होई। ब्रह्मानंद मगन सब लोई॥

आज अयोध्या नगरी भारत की सांस्कृतिक चेतना के एक और उत्कर्ष-बिंदु की साक्षी बन रही है। #श्रीराम_जन्मभूमि_मंदिर के #शिखर_ध्वजारोहण उत्सव का यह क्षण अद्वितीय और अलौकिक है। सियावर रामचंद्र की जय!

अयोध्या के राम मंदिर में ध्वजारोहण संपन्न हो गया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने धर्मध्वजा फहराई। इस दौरान उनके साथ राष्ट्रीय स्वयंसेवक सेवक संघ के सरसंचालक मोहन भागवत और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मौजूद रहे। ध्वजारोहण के बाद पीएम मोदी ने रामभक्तों को संबोधित किया।..

✨️

रेत पर बिखरे उत्तर



रेत पर बिखरे उत्तर

कभी

धूप में झिलमिलाते उस सुनसान विस्तार से

दृष्टि मत मोड़ना—

उसका वही एक चकत्ता,

जहाँ पृथ्वी

एड़ियों में अपनी पहली धड़कन

धीरे-धीरे रख देती है।

✨️

कौन हो तुम 

जो समय की खिड़की से

झांक कर ओझल हो जाती हो 

तुम्हारे जाने के बाद 

तुम्हारे ताज़ा निशान 

भीनी खुशबू और 

गुम हो जाने वाला पता ..

✨️

बिना मेरे कैसे वक़्त गुज़ारोगे मुझे छोड़ने के बाद 

दिल को क्या कह बहलाओगे मुझे छोड़ने के बाद ।


तुझ से कौन करेगा मोहब्बत मुझे छोड़ने के बाद 

किसी और का न हो पाओगे मुझे छोड़ने के बाद 

जो मेरी ऑंखों में अश्क़ों का तोहफ़ा दिया तुमने 

तरस जाओगे तुम चाहत को मुझे छोड़ने के बाद ।

✨️

।।इति शम।।

धन्यवाद 

पम्मी सिंह ' तृप्ति '..✍️


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