tag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post1134261822230889162..comments2024-03-28T11:15:23.497+05:30Comments on पाँच लिंकों का आनन्द: 747..पन्नों पे तख़य्युल के अक्सों..yashoda Agrawalhttp://www.blogger.com/profile/05666708970692248682noreply@blogger.comBlogger18125tag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-12202292870713546362017-08-03T22:13:21.714+05:302017-08-03T22:13:21.714+05:30बहुत सुन्दर और रोचक संकलन...आभार बहुत सुन्दर और रोचक संकलन...आभार Kailash Sharmahttps://www.blogger.com/profile/12461785093868952476noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-70090288664504018302017-08-03T19:33:45.303+05:302017-08-03T19:33:45.303+05:30सुंदर संकलन, मेरी सुविचार
को सम्मिलित करने के लिए...सुंदर संकलन, मेरी सुविचार <br />को सम्मिलित करने के लिए बहुत-बहुत धन्यवाद |Archanahttps://www.blogger.com/profile/18274699632623451868noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-50300955713745178692017-08-03T18:53:32.168+05:302017-08-03T18:53:32.168+05:30वाह!बहुत सुंदर..वाह!बहुत सुंदर..Pammi singh'tripti'https://www.blogger.com/profile/13403306011065831642noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-83015410065561272732017-08-03T17:38:34.193+05:302017-08-03T17:38:34.193+05:30स्याही के सुर्खे-रंग को तहे-दस्त पे हिना कर देखो.....स्याही के सुर्खे-रंग को तहे-दस्त पे हिना कर देखो.., <br />तख्खयूल के अक़्स को फिर सफ़हे-आइना कर देखो..... Neetu Singhalhttps://www.blogger.com/profile/14843330374912315760noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-69587852005041940092017-08-02T23:57:44.498+05:302017-08-02T23:57:44.498+05:30बेहतरीन रचनाओं से संजोया हुआ अंक ! विविधता से परिप...बेहतरीन रचनाओं से संजोया हुआ अंक ! विविधता से परिपूर्ण करने हेतु शुक्रिया पम्मीजी ।Meena sharmahttps://www.blogger.com/profile/17396639959790801461noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-25279810750977954742017-08-02T18:51:26.862+05:302017-08-02T18:51:26.862+05:30आदरणीय पम्मी जी आज का अंक आपके सफल प्रस्तुति से सफ...आदरणीय पम्मी जी आज का अंक आपके सफल प्रस्तुति से सफल हुआ। आपकी प्रस्तुति सबसे नराली !भावों के साथ सुन्दर लिंक जो मन को छूते हैं आभार ,"एकलव्य" <br />'एकलव्य'https://www.blogger.com/profile/13124378139418306081noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-52025507207216742502017-08-02T14:56:02.283+05:302017-08-02T14:56:02.283+05:30सुन्दर प्रस्तुति करण ...उम्दा संकलन....
मेरी रचना ...सुन्दर प्रस्तुति करण ...उम्दा संकलन....<br />मेरी रचना को स्थान देने के लिए हार्दिक धन्यवाद पम्मी जी.... <br />Sudha Devranihttps://www.blogger.com/profile/07559229080614287502noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-18514348310920752852017-08-02T11:31:06.575+05:302017-08-02T11:31:06.575+05:30बहुत अच्छी हलचल प्रस्तुति बहुत अच्छी हलचल प्रस्तुति कविता रावत https://www.blogger.com/profile/17910538120058683581noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-90389621542859508342017-08-02T10:48:48.728+05:302017-08-02T10:48:48.728+05:30बहुत सुंदर संकलनबहुत सुंदर संकलनLokesh Nashinehttps://www.blogger.com/profile/10305100051852831580noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-22911153149811988912017-08-02T10:36:14.803+05:302017-08-02T10:36:14.803+05:30सुंदर प्रस्तुतिकरण..पठनीय सूत्रों से परिचय कराने क...सुंदर प्रस्तुतिकरण..पठनीय सूत्रों से परिचय कराने के लिये आभार पम्मी जी..Anitahttps://www.blogger.com/profile/17316927028690066581noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-48821354727170787502017-08-02T10:06:13.205+05:302017-08-02T10:06:13.205+05:30व्यस्तता के क्षणों में पम्मीजी के द्वारा परोसे गए ...व्यस्तता के क्षणों में पम्मीजी के द्वारा परोसे गए इन "तख़य्युल के अक्सों " को निहारने में ठेठ टटकापन महसूस होता है। सभी नगमानिगारों को बधाई। रविंद्रजी को खास आदाब 'तख़य्युल के अक्सों ' के मतलब से रु ब रु कराने के लिए।विश्वमोहनhttps://www.blogger.com/profile/14664590781372628913noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-91374672195033014262017-08-02T09:38:01.752+05:302017-08-02T09:38:01.752+05:30सदैव की भाँति इस बार भी सुंदर संकलन एवं प्रस्तुति ...सदैव की भाँति इस बार भी सुंदर संकलन एवं प्रस्तुति के लिए बधाई पम्मी जी। सभी रचनाकारों को भी बधाई।RAKESH KUMAR SRIVASTAVA 'RAHI'https://www.blogger.com/profile/14562043182199283435noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-60010721838216082022017-08-02T09:31:02.861+05:302017-08-02T09:31:02.861+05:30सुंदर लिंकों से सजी आज की सुंदर पम्मी जी।सुंदर लिंकों से सजी आज की सुंदर पम्मी जी।Sweta sinhahttps://www.blogger.com/profile/09732048097450477108noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-46767518513164760982017-08-02T09:25:36.119+05:302017-08-02T09:25:36.119+05:30बहुत सुन्दर प्रस्तुति ।बहुत सुन्दर प्रस्तुति ।सुशील कुमार जोशीhttps://www.blogger.com/profile/09743123028689531714noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-62665107911607130402017-08-02T09:01:02.749+05:302017-08-02T09:01:02.749+05:30बहुत सुंदर संकलन ,अच्छी रचनायें बहुत सुंदर संकलन ,अच्छी रचनायें Ritu asooja rishikesh https://www.blogger.com/profile/07490709994284837334noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-25580358163252327832017-08-02T08:55:59.884+05:302017-08-02T08:55:59.884+05:30बहुत ही अच्छी प्रस्तुति। सुप्रभात।बहुत ही अच्छी प्रस्तुति। सुप्रभात।पुरुषोत्तम कुमार सिन्हाhttps://www.blogger.com/profile/16659873162265123612noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-14008339753690526462017-08-02T06:07:45.462+05:302017-08-02T06:07:45.462+05:30शुभ प्रभात !
सही कहा आपने पम्मी जी
तख़य्युल के अक्...शुभ प्रभात !<br />सही कहा आपने पम्मी जी <br />तख़य्युल के अक्सों (कल्पना के प्रतिबिम्बों) को <br />पन्नों पर उकेरना सार्थक सृजन है <br />जिसमें समाये होते हैं एहसासों के महासागर। <br />उम्दा सूत्रों का संकलन है आज का अंक। <br />सभी चयनित रचनाकारों को बधाई एवं शुभकामनाऐं ! <br />पम्मी जी को बधाई एक सार्थक प्रस्तुति के लिए। <br />सुपंक्ति में वक़्त के स्वभाव का उल्लेख प्रभावी है। <br />शुक्रिया कल का ज़िक्र करने के लिए। <br />आभार सादर। Ravindra Singh Yadavhttps://www.blogger.com/profile/09309044106243089225noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-692139476716571990.post-31214763775474793882017-08-02T05:54:13.303+05:302017-08-02T05:54:13.303+05:30शुभ प्रभात पम्मी बहन
मनभावक रचनाएँ पढ़वा रही हैं आ...शुभ प्रभात पम्मी बहन<br />मनभावक रचनाएँ पढ़वा रही हैं आप<br />सादरDigvijay Agrawalhttps://www.blogger.com/profile/10911284389886524103noreply@blogger.com